आगरा।। त्योहारों का सीजन शुरू हो गया है कुछ दिनों पहले करवा चौथ और उसके बाद दीपावली में सबको कुम्हारों के बने सामानों की जरूरत पढ़ने वाली है ऐसे में कुमारों के पास भी काम आ गया है देश में जब से प्लास्टिक का चलन बढ़ा है तब से कुम्हारों के काम लगभग पठ हो चुका जिससे इनकी आर्थिक हालत भी दैनीय हो गई है बताते चले एत्मादपुर के ब्लॉक खंदौली क्षेत्र के गांव नगला जालिम के रहने वाले विशंभर प्रजापति कहते हैं कि जब से प्लास्टिक चली है जब से हमारे मिट्टी के बर्तन और हमारा रोजगार छूट गया है मिट्टी के बर्तनों का काम करने वालों के बच्चों को भी पढ़ने की उम्र में उनके साथ काम करना पड़ता है परिवार कहते हैं कि बच्चे अपना और अपने परिवार का पेट भरते हैं बच्चों का भविष्य क्या होगा इनको खुद नहीं मालूम तो हारो की समय में उनकी सामानों की जो बिक्री होती है उनके परिवार की रोजी रोटी चलती है।
सोनू सिंह ब्यूरो चीफ आगरा
अक्रॉस टाइम्स हिंदी समाचार पत्र
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